Khabarwala24 News Hapur : कांग्रेस के पदाधिकारी और कार्यकर्ताओं ने जिला मुख्यालय पर प्रदर्शन कर राष्ट्रपति को संबोधित ज्ञापन सौंपा। जिसमें उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा अनुसूचित जाति / जनजाति विरोधी जो नियम लाया जा रहा है, उस पर दलित हितों को ध्यान में रखते हुए तत्काल रोक लगाए जाने के प्रदेश सरकार को आदेश देने की मांग की गई।
कानून को निष्क्रय करने का किया जा रहा प्रयास
ज्ञापन में कांग्रेसियों ने बताया कि तत्कालीन कांग्रेस पार्टी की सरकार ने अनुसूचित जाति / अनुसूचित जनजाति के हितों को ध्यान में रखते हुए और उन्हें भूमिहीन होने से बचाने के लिए उत्तर प्रदेश जमींदारी उन्मूलन एवं भूमि व्यवस्था अधिनियम, 1950 कानून बनाया था। इसके तहत एक सीमित रकबा (3.125 एकड़) से अधिक कृषि भूमि यदि अनुसूचित जाति / अनु0 जनजाति वर्ग के लोग विक्रय करना चाहते हैं तो उन्हें जिलाधिकारी से अनुमति लेना अनिवार्य होगा। परन्तु हमें समाचार-पत्रों के माध्यम यह ज्ञात हुआ है कि उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ की सरकार कांग्रेस द्वारा बनाये गए इस कानून को निष्क्रिय करने जा रही है।
साजिश किए जाने का आरोप
ज्ञापन में कहा गया कि यह युगों-युगों से वंचित भारत के अनुसूचित जाति / जनजाति के अधिकारों पर कुठाराघात करने का कदम है। जिस प्रकार भाजपा की प्रदेश और केन्द्र की सरकारों द्वारा कुछ उद्योगपतियों को सम्पूर्ण भारत बेचने / सौंपने की साजिश की जा रही है, उसका यह जीता जागता नमूना है। इस कानून से अनुसूचित जाति और जनजाति वर्ग के लोग पूरी तरीके से भूमिहीन हो जाएंगे और सरकार के दबाव में / सरकार के इशारे से अनुसूचित जाति / जनजाति के पास जो थोड़ी बहुत कृषि भूमि है वह भी औने-पौने दाम पर ले ली जाएगी। इसके पूर्व जो उत्तर प्रदेश में सरकार थी उसने भी ऐसा ही अनैतिक कृत्य किया था, जिसका विरोध उस समय भी कांग्रेस पार्टी ने सदन से सड़कों तक किया था।
यह रहे मौजूद
ज्ञापन देने वालों में जिलाध्यक्ष मिथुन सुबोध त्यागी, अशोक शर्मा, पीसीसी सदस्य नरेश कुमार,एजाज एहमद, अमरजीत सिंह, राकेश मोहन शर्मा, चौधरी शमीम अय्यूब, देवंद्र कुमार, चरन सिंह, जे कुमार, जस्सा सिंह, ज्ञानवीर, सौरभ सिंह, दीपक, रघुबीर सिंह, कृष्ण, वाई.के.शर्मा आदि मौजूद थे।
![कांग्रेसियों का जिला मुख्यालय पर प्रदर्शन, सौंपा ज्ञापन sda](https://www.khabarwala24.com/wp-content/uploads/2023/03/sda.jpg)