Khabarwala 24 News New Delhi : Sehwag and Dravid Record किसी टेस्ट के पहले दो दिन में कोई विकेट नहीं गिरा है। जिम्बाब्वे-वेस्टइंडीज टेस्ट की खास बात यह थी कि ऐसा सिर्फ 5वीं बार हुआ है। इस छोटी सूची में भारत के दो टेस्ट मैच भी शामिल हैं – श्रीलंका-भारत, कोलंबो, 1997 और पाकिस्तान-भारत, लाहौर, 2006। पिच के साथ-साथ, लाहौर टेस्ट में स्थापित रिकॉर्ड के लिए भारत के बल्लेबाज जिम्मेदार थे और इसे भारत के रिकॉर्ड में से एक माना जाता है।
पिच और मौसम दोषी (Sehwag and Dravid Record)
सर्वोत्तम प्रदर्शन। उस टेस्ट में कैसा रहा प्रदर्शन और क्या हुआ? चलो लाहौर, जनवरी 13, 14, 15, 16, 17, 2006। टेस्ट के ड्रा परिणाम के लिए आमतौर पर पिच और मौसम को दोषी ठहराया जाता है। मौसम ने भी पिच का साथ दिया और 220 ओवर का खेल बड़ी मुश्किल से खेला गया। तीसरे दिन सिर्फ 15 ओवर और पांचवें दिन सिर्फ 14 गेंदें।
रिकॉर्ड साझेदारी की (Sehwag and Dravid Record)
फिर भी, इस टेस्ट की रिकॉर्ड बुक में कई प्रविष्टियाँ थीं। पहले दो दिन पाकिस्तान के बल्लेबाजों का दबदबा रहा लेकिन सबसे बड़ी उपलब्धि भारत की ओर से आई – राहुल द्रविड़ और वीरेंद्र सहवाग ने पहले विकेट के लिए 410 रनों की रिकॉर्ड साझेदारी की और फिर पहले विकेट के लिए सबसे बड़ी साझेदारी का 50 साल पुराना रिकॉर्ड तोड़ दिया। बस 4 रन पीछे।
अलग शैली में दिखे (Sehwag and Dravid Record)
दूसरी ओर राहुल द्रविड़ बेहद संजीदा बल्लेबाजी कर रहे थे। मतलब दोनों बिल्कुल अलग शैली में खेले और स्ट्राइक रेट से बेहतर इसका सबूत क्या हो सकता है? इस मामले में सहवाग उनसे कहीं ज्यादा तेज थे। इस सीरीज में सहवाग को भी मौका दिया गया लेकिन उन्हें बाहर कर दिया गया। फिर भी साझेदारी 5.33 रन प्रति ओवर की दर से रन बना रही थी, इसलिए कोई भी दोनों को अलग-अलग नहीं देख रहा था। द्रविड़ तब कप्तान भी थे और उन्होंने पहले 100 रन भी कप्तान के तौर पर ही बनाये थे।
बहस में बने ओपनर (Sehwag and Dravid Record)
टीवी कैमरे में टॉस से पहले द्रविड़, उनके कप्तान सौरव गांगुली और कोच ग्रेग चैपल को आपस में बात करते हुए दिखाया गया, लेकिन जिस तरह से वे बात कर रहे थे उससे साफ लग रहा था कि बहस हो रही है। बहस यह थी कि ओपनिंग कौन करेगा? रिपोर्ट्स की मानें तो टेस्ट टीम में गांगुली को बतौर ओपनर शामिल किया गया था और उनकी कीमत पर स्पेशलिस्ट ओपनर बल्लेबाज गौतम गंभीर और वसीम जाफर को बाहर कर दिया गया। उस बहस में द्रविड़ ओपनर बने थे।
तेज दोहरा शतक (Sehwag and Dravid Record)
पाकिस्तान की गेंदबाजी के प्रति सहवाग का प्रेम पहले से ही स्पष्ट था-उन्होंने उनके खिलाफ पिछले छह टेस्ट मैचों में 309, 173 और 201 रन बनाए। इस बार 254 रन बनाए – कुल 48 चौके (47 चौके और 1 छक्का)। इसके बाद टेस्ट में कई गेंदों पर दूसरा सबसे तेज दोहरा शतक बनाया (केवल नाथन एस्टल, 2001-02 में इंग्लैंड के खिलाफ 153 गेंदों में) उनसे भी तेज-सहवाग का रिकॉर्ड 182 गेंदों और 247 गेंदों में 254 रन – 328 मिनट का था।
नया रिकॉर्ड नहीं बना (Sehwag and Dravid Record)
पहले दिन पाकिस्तान का स्कोर 326-2 था। अगले दिन पाकिस्तान ने 679-7 पर पारी समाप्त घोषित कर दी। दिन का खेल ख़त्म होने तक, भारत केवल 13 ओवरों में 65-0 था। तीसरे दिन का स्कोर 145-0 था। चौथे दिन का स्कोर 403-0 था. यानी दो दिन में कोई विकेट नहीं गिरा है। टेस्ट ड्रा रहा और दिलचस्प यह है कि द्रविड़ के 128* रन के बावजूद आम राय यह थी कि उन्हें नियमित सलामी बल्लेबाज बनाने का कोई प्रयास नहीं किया जाना चाहिए। ये सब तो हुआ लेकिन नया रिकॉर्ड नहीं बना।